गुरुकुल ५

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Wednesday 3 April 2013

दीवानगी


राजा विक्रम अज्ञात वास में शायद परियों के देश में 

१*
पहले मेरे प्यार और नेमत के काबिल बन जा
फिर उठा हाथ सज़दे में या कुछ माँगने खातिर
२ **
मेरा इश्क मेरी दीवानगी मयखाने में नज़र आती है
कभी झाँका है उन आँखों को जिनमे डूबा उभरा फिर
३ ***
तुमने रुख से ज़रा नकाब ए हया क्या खींचा
लोग चिल्ला उठे तौबा ये क़यामत है या बला
४ ****
माना कि ज़िन्दगी हसीं है जानां
यूं जीना तेरे बगैर मुमकिन होगा?
५ *****
ये कैसी दीवानगी तेरी यूं दीवानापन
आये क्यूँ हर शै में तेरा अक्श नज़र
६ ******
कैसी दीवानगी तुम पर कैसा दीवानापन
के तेरे यादों में हरेक शै को भुल जाता हूँ
७ *******
कर बंद मुट्ठी ले समेट सारा जहां इसमें
हद फांदकर तू लगा जहां भी खुद बसेरा
८ ********
अभी रात है मैं मानता हूँ जानती है तू
सुबह होती ही है हौसला रख सूरज पर

९ *********
चुनी खुद राह अपनी फिर नज़रें नीची क्यूँ हैं?
शर्मिन्दगी फैसले पर या जहां को जान लिया?


चित्र गूगल से साभार
समर्पित मेरी  * जिंदगी * को
हर लम्हा जो मेरी सांसों में   

22 comments:

  1. यादों को समेटे ..सवालों का जवाब तलाशते भाव..खूब!

    [नीचे चित्र 'साभार गूगल लिखा है लेकिन पोस्ट पर कोई चित्र नहीं दिखा ]

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    1. सुप्रभात अल्पना जी कभी कभी ऐसी भी दीवानगी होती है आपका स्नेह मिला और मार्गदर्शन सदा रहेगा इस अपेक्षा में प्रतीक्षारत

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    2. अच्छा हुआ यह चित्र कल रात को पोस्ट पर टिप्पणी लिखते समय नहीं दिखा था...वर्ना घबराहट में पोस्ट पढ़ना भूल जाती!

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  2. सभी शेर एक से बढ़कर एक..जज्बातों को बयान करते हुए..

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  3. कैसी दीवानगी तुम पर कैसा दीवानापन
    के तेरे यादों में हरेक शै को भुल जाता हूँ,,,यादों के अहसासों को समेटे सुंदर शेर,,,

    Recent post : होली की हुडदंग कमेंट्स के संग

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  4. बहुत ही बेहतरीन उम्दा शेर,आभार.

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  5. सभी शेर एक से बढ़कर एक..आभार.

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  6. ऐसी दीवानगी , देखी नहीं कभी ---
    बहुत खूब ! सुन्दर शे'र सभी ।

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  7. कैसी दीवानगी तुम पर कैसा दीवानापन
    के तेरे यादों में हरेक शै को भुल जाता हूँ ..

    किसी के प्यार में डूब के भी कुछ याद रहा तो क्या प्यार ... दीवानेपन का मज़ा डूब जाने में ही है ...

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  8. वाह ... बहुत खूब
    सभी शेर एक से बढ़कर एक ....
    आभार

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  9. दराल साहब की ही बात दोहराती हूँ :)

    वैसे तो काफी देर हो ही चुकी है फिर भी, पानी की समस्या पर सरकार ने अगर अब भी ध्यान नहीं दिया तो 2025 से भारत में पानी के लिए लोग एक दूसरे के खून के प्यासे हो जायेंगे। पानी के मामले में भारत की स्थिति सबसे ख़राब है। अन्य देशो में भी पानी की किल्लत होने वाली है, लेकिन भारत अपनी जनसँख्या की वजह से, भयावह स्थिति में आने वाला है।
    हर हाल में पानी बचाने की कोशिश कीजिये, पानी का दुरूपयोग अपराध है।

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  10. समर्पित मेरी * जिंदगी * को
    हर लम्हा जो मेरी सांसों में

    तौबा ! कौन है ये .....????

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  11. माना कि ज़िन्दगी हसीं है जानां
    यूं जीना तेरे बगैर मुमकिन होगा?
    sabhi achhe lage ...

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  12. यशवंत माथुर जी आपके स्नेह और आशीर्वाद का ह्रदय से आभारी

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  13. बहुत सुन्दर .....

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  14. चुनी खुद राह अपनी फिर नज़रें नीची क्यूँ हैं?
    शर्मिन्दगी फैसले पर या जहां को जान लिया?

    जबरदस्त शेर, गहरी सोच.
    अभिनन्दन.

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  15. सुन्दर पंक्तियाँ

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  16. अभी रात है मैं मानता हूँ जानती है तू
    सुबह होती ही है हौसला रख सूरज पर
    ...बस यही जज़्बा होना चाहिए

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  17. राजा के का जब मन परही वापस ले आहा ये वाला पोस्ट भी बने हे.. ......

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  18. गजब ढाते भाव.

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